संसद के दोनों सदनों में गुरुवार को भी लोकपाल बिल और अन्ना के अनशन को लेकर हंगामा जारी है.
गुरुवार को लोकसभा की कार्रवाई शुरू होते ही अन्ना के अनशन को लेकर विपक्षी दलों ने हंगामा और नारेबाजी शुरू कर दी.
लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष सुषमा स्वराज ने कहा कि सरकार बताए की अन्ना की टीम से क्या बातें हुईं. अफवाहें उड़ रही हैं कि सरकार ने कहा कि अन्ना अनशन करते हैं तो करें हमें क्या.
उन्होंने लोकसभा अध्यक्ष से मांग की कि प्रश्नकाल को स्थगित कर इस पर बहस कराई जाए.
सुषमा स्वराज के सवालों के जवाब में प्रणब मुखर्जी ने कहा, "हमने ऐसा नहीं कहा है. हमारे बयान को तोड़-मरोड़ कर पेश किया गया. हमने अन्ना से अनशन तोड़ने की अपील की है."
इस दौरान विपक्षी दलों ने जमकर शोर-शराबा किया. विपक्षी दलों के हंगामे को देखते हुए लोकसभा अध्यक्ष मीरा कुमार ने सदन की कार्रवाई को 11.30 बजे तक स्थगित कर दिया.
वहीं राज्यसभा में भी विपक्षी दलों के हंगामे और नारेबाजी के चलते राज्यसभा को 12 बजे तक स्थगित कर दिया गया.
इससे पहले गुरुवार को संसद में कांग्रेस संसदीय दल की बैठक हुई जिसमें मौजूदा हालात पर चर्चा हुई. बैठक में तय हुआ है कि सरकार अपने रुख पर कायम रहेगी.
प्रणब मुखर्जी ने सरकार का पक्ष रखते हुए कहा कि सरकार अपने रुख पर कायम रहेगी. बैठक में राहुल गांधी भी मौजूद थे और उन्होंने अन्ना की सेहत पर चिंता जताई.
उल्लेखनीय है कि मजबूत लोकपाल बिल मामले को लेकर टीम अन्ना और सरकार के बीच बुधवार रात प्रणब मुखर्जी के घर हुई तीसरे दौर की वार्ता फिर विफल रही और कोई समाधान नहीं निकला.
इस बातचीत में सरकार का रवैया सख्त नज़र आया. करीब डेढ़ घंटे तक चली बातचीत के बाद इस बैठक को गुरुवार को फिर जारी रखने का फैसला किया गया था. लेकिन सिविल सोसायटी के सदस्यों ने फिलहाल बातचीत से इंकार कर दिया है.
मालूम हो कि गुरुवार को अन्ना के अनशन का दसवां दिन है और गिरती सेहत के बावजूद उन्होंने अनशन खत्म करने से इंकार कर दिया है. अन्ना का कहना है कि जब तक कोई समाधान नहीं निकलता है वह कुछ भी नहीं लेंगे.
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